ब्लैक फंगस से अधिक खतरनाक है वाइट फंगस! यहाँ जानिये लक्षण

कोरोना से ठीक हो रहे मरीजों में ब्लैक फंगस के मामले सामने आ रहे हैं. अब तक 5000 से अधिक लोगों में ये बीमारी सामने आई है.. थोड़ी सी लापरवाही या इलाज में देरी की स्थिति में ये बीमारी काफी खतरनाक हो सकती है… कोरोना के बाद आया ब्लैक फंगस और अब सामने आया है वाइट फंगस..
विशषज्ञों के मुताबिक ये नया संक्रमण ब्लैक फंगस से भी ज्यादा खतरनाक है क्योंकि ये केवल एक अंग नहीं, बल्कि फेफड़ों और ब्रेन से लेकर हर अंग पर असर डालता है.

ब्लैक फंगस को मेडिकल की भाषा में कैंडीडा भी कहा जाता है.. खून के जरिये ये फंगस पूरे शरीर में फ़ैल जाता है. ये नाखून, स्किन, पेट, किडनी, ब्रेन, प्राइवेट पार्ट और मुंह के साथ फेफड़ों को संक्रमित कर सकता है. हालांकि इस फंगस से प्रभावित जो मरीज आ रहे हैं, उनके साथ जरूरी नहीं कि वे कोविड से संक्रमित हों. हालांकि लंग्स पर असर होने के कारण उनके लक्षण कोरोना से लगभग मिलते-जुलते होते हैं, जैसे सांस फूलना या कई बार सीने में दर्द.

वाइट फंगस से संक्रमित व्यक्ति के शरीर के जॉइंट्स पर दर्द होने लगता है. ब्रेन तक पहुंच जाए तो सोचने विचारने की क्षमता पर असर पड़ता है. सिर में तेज दर्द के साथ उल्टियां हो सकती हैं. स्किन में रक्त के जरिए फैलने पर छोटे-छोटे फोड़े हो सकते हैं, जो आमतौर पर दर्दरहित होते हैं. ये संक्रमण का शुरुआती लक्षण है.

व्हाइट और ब्लैक दोनों ही लो इम्यूनिटी वाले लोगों को अपना शिकार बनाता है। इसके साथ ही ब्लैक फंगस डायबिटीज, कैंसर, गंभीर बीमारी से ग्रसित या फिर आईसीयू में एडमिट मरीज को अपना शिकार बनाता है। वहीं व्हाइट फंगस को-मोंविड मरीजों को सबसे ज्यादा शिकार बना रहा है। इसके साथ ही कैंसर, अधिक ब्लड शुगर के शिकार हो।

व्हाइट फंगस के लक्षण

खांसी, बुखार, दस्त, फेफड़ों पर काले धब्बे , ऑक्सीजन लेवल कम होना।

ब्लैक फंगस के लक्षण

लाल आंख, नाक से खून आना, नाक की हड्डी में दर्द, धुंधला दिखना